चुनावी उलटफेर! नैनीताल में बढ़ते प्रत्याशी, घटते मतदाता
नैनीताल, 21 दिसंबर (हि.स.)। नैनीताल नगर पालिका परिषद के आगामी निकाय चुनाव की तैयारियां तेजी पकड़ने लगी हैं। जहां प्रशासन इन चुनावों के सफल आयोजन के लिए पूरी तैयारी में जुटा हुआ है। वहीं नित नये प्रत्याशी भी सामने आ रहे हैं। खास बात यह है कि इस बार वार्ड स्तर पर सभासद के पदों के लिए आरक्षण में आम तौर पर कोई बदलाव नहीं होने से अधिकांश निवर्तमान सभासद भी चुनाव लड़ने की सोच रहे हैं और उनके विरुद्ध एंटी इंकमबेंसी का दावा करते हुए अन्य प्रत्याशियों की संख्या भी लगातार बढ़ रही है।
घटते मतदाताओं की संख्या चिंता का विषय, पांच वर्षों में तीन हजार मतदाता घटे
नगर पालिका से मिली जानकारी के अनुसार 2018 के निकाय चुनाव में 8,784 महिलाएं और 9,187 पुरुष यानी कुल 28,165 मतदाता पंजीकृत थे। तब नवंबर माह में चुनाव हुए थे। फिर भी इनमें से 8784 महिलाओं एवं 9187 पुरुषों सहित 17,971 यानी 64 फीसद से कम मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया था। जबकि इस बीच 5 वर्षों में मतदाताओं की संख्या लगभग 12340 महिला व 12904 पुरुष यानी 25,244 रह गई है। इसका एक मुख्य कारण मेट्रोपोल और चार्टन लॉज क्षेत्र में हुआ अतिक्रमणों का ध्वस्तीकरण और लोगों का पलायन माना जा रहा है। साथ ही चुनाव कड़ाके की सर्दी और विद्यालयों एवं विभिन्न संस्थानों में शीतकालीन छुट्टियों के मौसम में होने संभावित हैं। ऐसे में इस चुनाव में मतदाताओं के और भी कम संख्या में मतदान करने की आशंका व्यक्त की जा रही है।
पुराने और नए चेहरों का संघर्ष
नगर निकाय चुनाव में आरक्षण सूची में इस बार कोई बदलाव नहीं किया गया है, जिससे अधिकांश वार्डों में निवर्तमान सभासदों ने अपनी दावेदारी बरकरार रखी है। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि वार्डों की जनता पुराने चेहरों पर विश्वास जताती है या नए प्रत्याशियों को मौका देती है। निकाय चुनाव से जुड़े ये आंकड़े और बदलते समीकरण इस बार के परिणामों को रोचक बना रहे हैं। आने वाले दिनों में जनता का फैसला तय करेगा कि कौन इन चुनावों में विजयी होगा।
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