कैदी और बुजुर्ग कोरोना पॉजिटिव अस्पताल से हुए फरार, दोनों को दबोचा गया, कैदी के फरार होने की हो रही जांच

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गाजियाबाद। कोरोना संक्रमण के शुरूआती दौर में मरीजों के भागने की घटनाओं को देखते हुए सरकारी कोविड अस्पतालों में कड़ी सुरक्षा की व्यवस्था की गई थी, लेकिन धीरे-धीरे यह सुरक्षा व्यवस्था लचर होती जा रही है। जिसका फायदा उठाते हुए संयुक्त अस्पताल से एक कैदी और एक बुजुर्ग फरार हो गए। दोनों कोरोना पॉजिटिव थे। हालांकि दोनों को दोबारा से दबोच लिया गया है। इसके अलावा एमएमजी अस्पताल से भी एक महिला फरार हो गई।

होम आइसोलेशन की सुविधा शुरू होने के बाद भी बहुत से कोरोना संक्रमितों को अस्पतालों में भर्ती किया जा रहा है। इनमें लक्षण वाले मरीज और 60 वर्ष से अधिक आयु वाले मरीज शामिल हैं। शनिवार को वैशाली में रहने वाले एक 87 वर्षीय कोरोना संक्रमित बुजुर्ग को एंबुलेंस के जरिए संयुक्त अस्पताल में भर्ती किया गया था। भर्ती होने के कुछ ही देर बाद टहलते हुए अस्पताल से बाहर निकल गया और आॅटो में बैठकर घर पहुंच गया।

अस्पताल प्रबंधन को बुजुर्ग के फरार होने की जानकारी उसके घर पहुंचने के बाद हुई। बुजुर्ग के परिजनों ने कोरोना कंट्रोल रूम पर फोन करके इसकी जानकारी दी। रविवार को स्वास्थ्य विभाग ने बुजुर्ग को दोबारा से कंबाइंड अस्पताल में भर्ती करवाया है। बुजुर्ग ने स्वास्थ्य कर्मियों को बताया कि उसे कोई परेशानी नहीं है और अस्पताल में उसका मन नहीं लग रहा था, इसलिए वह घर चले गए थे।

संयुक्त अस्पताल से शनिवार को एक कैदी भी फरार हो गया। कैदी को साहिबाबाद पुलिस ने गिरफ्तार करके जेल भेजा था। कोरोना जांच में वह पॉजिटिव पाया गया, जिसके बाद उसे पुलिस अभिरक्षा में संयुक्त अस्पताल में फर्स्ट फ्लोर पर बने कमरे भर्ती करवाया गया था। अस्पताल सूत्रों के अनुसार कैदी के एक सिपाही को तैनात किया गया था। सिपाही ने कैदी को टॉयलेट करवाने के बाद हथकड़ी लगाकर कमरे में बंद किया था। इसके बाद सिपाही कमरे के बाहर बैठ गया था।

कैदी ने किसी तरह अपनी हथकड़ी खोली और दरवाजे की कुंडी तोड़कर फरार हो गया। कैदी के फरार होने की सूचना से हड़कंप मच गया। हालांकि पुलिस ने उसे दबोच लिया है। इस मामले में अस्पताल प्रबंधन की ओर से मधुबन-बापुधाम थाने में तहरीर दी गई है। मधुबन-बापूधान थाना प्रभारी अजीत खारी ने बताया कि फरार हुए कैदी को दबोच लिया गया है। कैदी के फरार होने और उसमें सिपाही की भूमिका की भी जांच की जा रही है।

इसके अलावा शनिवार को एमएमजी अस्पताल से भी एक बुजुर्ग महिला फरार हो गई थी। महिला को एक एनजीओ के जरिए अस्पताल लाया गया था। उसके साथ एनजीओ और परिवार के सदस्य भी थे। शनिवार देर शाम बुजुर्ग महिला अस्पताल से बिना किसी को कुछ बताए चली गई। इस संबंध में अस्पताल प्रबंधन की ओर से पुलिस को सूचना दी गई है।

पहले भी हो चुके हैं संक्रमित फरार
कोरोना संक्रमण काल के शुरूआती दौर में कई मरीज अस्पताल से फरार हुए थे। उनमें से कुछ को स्वास्थ्य विभाग और पुलिस ने पकड़ लिया था, लेकिन कई के बारे में कोई जानकारी नहीं हो सकी थी। 21 मार्च को जिला एमएमजी अस्पताल से दो और संयुक्त अस्पताल से दो मरीज फरार हुए थे। इसके बाद 26 मार्च को संयुक्त अस्पताल से एक मरीज फरार हो गया था। जिला महिला अस्पताल से 19 जून को एक महिला फरार हो गई थी। महिला का प्रसव अस्पताल में हुआ था और उसके बाद महिला की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी, जिसके बाद उसे कोविड अस्पताल भेजा जाना था, लेकिन उससे पहले ही महिला फरार हो गई थी।