धूमधाम से मनाया गया ‘शहीद-ए-आजम’ भगत सिंह का 112वां जन्मदिवस

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गाजियाबाद। शहीद भगतसिंह की मूर्ति पर माल्र्यापण कर जन्मदिवस मनाया गया। इस अवसर पर शहीद-ए-आजम भगत सिंह जी के जीवन पर प्रकाश डाला गया। इस अवसर पर आयोजकों ने बताया कि शहीद-ए-आजम का जन्म भगत सिंह के परिवारवाले इनका जन्म 28 सितम्बर को मनाते है। भगत सिंह का पूरा परिवार क्रान्तिकारी था। उन्होंने जेल में 116 दिन की भूख हड़ताल की थी।

उन्होंने बताया कि भगतसिंह की फाँसी को रोकने के लिए पूरी दुनिया के लोगों ने कोशिश की ब्रिटिश सांसदो तक ने फाँसी रोकने की कोशिश की। लाखों लोगों ने इस बारे में पत्र लिखे जिसमे से कुछ तो खून से लिखे गये थे। भगत सिंह को महज 23 साल 5 महीने 25 दिन की आयु में 23 मार्च 1931 की शाम 7ः33 उन्हें फाँसी दी गई। देशभक्ति का जब भी नाम आता है सबसे पहलें शहीद भगत जी का नाम जुबां पर आता है। लाहौर षडयंत्र केस में राजगुरू, सुखदेव के साथ भगत सिंह को भी फांसी की सजा सुनायी गयी।

इस अवसर पर प्रवीण बत्रा, संजय गोयल, प्रमोद गुप्ता, राजेश वर्मा, वीरेंद्र कंडेरे, मोहित अरोड़ा, कपिल गर्ग आदि लोग प्रमुख रूप से मौजूद रहे।