नीट परीक्षा के लंबित मामले को लेकर रेजिडेंट डाक्टरों ने की हड़ताल

Share

— सरकार और सुप्रीम कोर्ट के बीच खींचतान से पीड़ित हैं रेजिडेंट डॉक्टर्स

कानपुर, 27 नवम्बर । नीट परीक्षा होने के बावजूद आरक्षण का मामला सरकार और सुप्रीम कोर्ट के बीच अधर में लटका हुआ है। इससे नये रेजिडेंट डाक्टर्स देश के विभिन्न मेडिकल कालेजों में प्रवेश नहीं ले पा रहे हैं। इससे कानपुर मेडिकल कालेज के रेजिडेंट डाक्टरों पर काम का बोझ अधिक पड़ रहा है। इससे परेशान होकर शनिवार को गणेश शंकर विद्यार्थी मेमोरियल मेडिकल कालेज के रेजिडेंट डाक्टर्स हैलट अस्पताल में हड़ताल कर दी और मांग की कि जल्द आरक्षण की समस्या का निराकरण कर नये रेजिडेंट डाक्टरों को प्रवेश दिलाया जाये, अगर ऐसा नहीं हुआ तो कठोर कदम उठाए जाएंगे।

देश की राजधानी दिल्ली सहित उत्तर प्रदेश के सबसे अहम शहर कानपुर के हैलेट अस्पताल के रेजिडेंट डाक्टरों ने हड़ताल कर दी है। हैलेट अस्पताल के रेजिडेंट डॉक्टर्स ने अस्पताल के गेट पर हस्त लिखित पोस्टर्स चस्पा कर धरना देते हुये अपना विरोध प्रकट किया। रेजिडेंट डॉक्टर्स ने मीडिया से बात करते हुये बताया कि देश के रेजिडेंट डॉक्टर्स पहले से ही बोझ से दबे हुये हैं।

रेजिडेंट डॉक्टर जो कोविड-19 महामारी की शुरुआत से ही अग्रिम पंक्ति में खड़े होकर लड़ रहे हैं पहले से ही विलम्ब हो चुके नीट-पीजी 2021 काउंसलिंग के मामले में सुप्रीम कोर्ट की कार्यवाही के कुछ सकारात्मक परिणामों के लिए धैर्यपूर्वक प्रतीक्षा कर रहे हैं, परंतु उन्हें कोई राहत मिलती नजर नहीं आ रही है। सरकार और सर्वोच्च न्यायालय के मध्य लंबित मामले के बीच रेजिडेंट डाक्टर पिस रहे हैं। न्यायालय की लंबी प्रक्रिया के चलते डॉक्टर्स अधर में फंसे हुए है। हड़ताल पर बैठे रेजिडेंट डॉक्टर्स ने बिल्कुल स्पष्ट शब्दों में कहा कि वह थक चुके हैं यदि उनकी मांगों पर जल्द आस्वासन नहीं दिया गया तो वह और भी कठोर कदम उठाने को बाध्य होंगे।