केंद्रीय मंत्री शेखावत ने कहा कि आज ढींगसरी की बेटियां अंडर–17 नेशनल चैंपियन बन चुकी हैं, जिन्होंने राजस्थान को 60 साल बाद टियर–2 चैंपियन बनाया है। यहां की 35 से अधिक बेटियां राष्ट्रीय स्तर पर चयनित हुई हैं, जो अत्यंत प्रेरणादायक है। सबसे विशिष्ट ढींगसरी की 16 वर्षीय बेटी मन्नू भाभू आज भारत की सीनियर फुटबॉल टीम की गोलकीपर बनकर पूरे देश का नाम रोशन कर रही है। अकादमी की संजू कंवर राजवी, हंसा कंवर राजवी और दुर्गा कंवर राजवी को इंडिया टीम कैंप में जाने का अवसर मिलना भी एक बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि यह यात्रा केवल उनके अकेले की नहीं, यह यात्रा पूरे गांव की शक्ति का प्रतीक है।
केंद्रीय मंत्री ने बेटियों के संघर्ष को याद करते हुए कहा कि जिन बेटियों ने आज भारत का तिरंगा ऊंचा किया है, उन्होंने कभी बिना जूतों के खेला, कभी मैदान नहीं देखा था, लेकिन उनके सपनों में अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम भरे हुए थे, और यही सपने उन्हें इस मुकाम तक लाए हैं। शेखावत ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के विजन को दोहराते हुए कहा कि ‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ केवल एक योजना नहीं है, अपितु यह राष्ट्र के भविष्य की सुरक्षा है। ढींगसरी ने इस संदेश को जमीनी स्तर पर उतार कर प्रमाणित किया है।
शेखावत ने ढींगसरी की इस प्रगति में भामाशाहों के योगदान को किसी वरदान से कम नहीं बताया। उन्होंने कहा कि वरिष्ठ नेता देवी सिंह भाटी, विधायक अंशुमान सिंह भाटी, सुभाष भरूआ और बीकाजी समूह के दीपक अग्रवाल केवल दानदाता नहीं हैं, ये ढींगसरी की बेटियों के अभिभावक हैं, जिन्होंने अपने हृदय का दरवाजा इस गांव के लिए खोल दिया। उनके कारण, जहां कभी धूल उड़ती थी, आज वहां तीन हरे-भरे मैदान खड़े हैं। जहां कभी रहने का इंतजाम नहीं था, आज वहां गर्ल्स हॉस्टल गर्व से खड़ा है, जहां कभी भविष्य धुंधला था, आज वहां रोशनी ही रोशनी है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि यह अकादमी केवल फुटबॉल सिखाने वाला संस्थान नहीं है, यह आत्मसम्मान सिखाने वाला मंदिर है। यहां हर बेटी सीखती है, “मैं गिरूंगी, उठूंगी, फिर दौड़ूंगी… और जीतूंगी।”
केंद्रीय मंत्री शेखावत ने कहा कि आज डबल इंजन सरकार की वजह से बेटियों का खेल केवल खेल नहीं, अपितु नए भारत की उभरती शक्ति है। उन्होंने आश्वासन दिया कि आज भारत का तंत्र, संसाधन और इच्छाशक्ति, तीनों बेटियों के साथ खड़े हैं, ताकि हर बेटी बिना किसी भय या कमी के आगे बढ़ सके, खेल सके और दुनिया को दिखा सके कि उसकी पहचान सीमाओं से नहीं, उसके सपनों की ऊंचाइयों से तय होती है।
कार्यक्रम में बीकाजी ग्रुप के मैनेजिंग डायरेक्टर दीपक अग्रवाल, अर्जुन अवार्डी मगन सिंह राजवी, सुभाष भूरा, प्रकाश भूरा, धर्मचन्द भूरा, यूआईटी के पूर्व चैयरमेन महावीर रांका, राजस्थान फुटबॉल एसोसिएशन के सचिव दिलीप सिंह शेखावत और कोच विक्रम सिंह राजवी आदि मंचासीन रहे।