स्टेट जीएसटी की प्रवर्तन कार्रवाइयों में तेजी:66 करोड़ की वसूली, कर चोरों पर कसा शिकंजा

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मुख्य आयुक्त वाणिज्यिक कर विभाग कुमार पाल गौतम के निर्देशन में प्रवर्तन शाखा ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित तकनीकों और रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन टूल्स का उपयोग करते हुए सघन परिवहन जांच अभियान चलाया। इस अभियान के तहत 24 वाहन जब्त किए गए, जिनमें सुपारी, आयरन स्क्रैप, ग्रेनाइट और मार्बल जैसे सामान अवैध रूप से परिवहन किया जा रहा था। इन वाहनों से अब तक एक करोड़ रूपये का जुर्माना वसूल किया गया है और 4 करोड़ की राशि का जुर्माना वसूल किया जाना प्रक्रियाधीन है। कई वाहन और माल मालिक अभी तक वाहन छुड़ाने या माल लेने नहीं आए हैं, जिसके बाद विभाग ऐसे वाहनों और माल की नीलामी कर राजस्व वसूली की तैयारी कर रहा है।

मुख्य आयुक्त ने बताया कि तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर कई व्यापारिक प्रतिष्ठानों पर सर्वे की कार्रवाई की गई, जिससे विभाग को अब तक 50 करोड़ रूपये का अतिरिक्त राजस्व प्राप्त हुआ है।

कोटा में बड़ी कार्रवाई: 1 हजार 500 करोड़ की कर चोरी का खुलासा

विगत माह कोटा में की गई एक बड़ी कार्रवाई में, एक पान मसाला विनिर्माण इकाई में 1 हज़ार 500 करोड़ रूपये की कर चोरी का मामला उजागर किया गया। इस प्रकरण में दो व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया है, जिनकी जमानत जिला सत्र न्यायालय द्वारा खारिज कर दी गई है। फैक्ट्री और एक अघोषित गोदाम से बिना दस्तावेजों के पाए गए रॉ मटेरियल को जब्त किया गया। इस दौरान बिना बिल के अवैध स्टॉक पर 15 करोड़ रूपये की नकद राशि जमा करवाई गई, जो राज्य में किसी भी प्रवर्तन कार्यवाही में अब तक की सबसे बड़ी तात्कालिक जमा राशि है।

विभाग के पास इस प्रकरण में 1 हजार 500 करोड़ से अधिक की संभावित कर देयता के पर्याप्त प्रमाण हैं। मामले की जांच में तेजी लाई जा रही है और जल्द ही मांग राशि निर्धारित कर वसूली प्रक्रिया शुरू की जाएगी।

कुमार पाल गौतम ने बताया कि राज्य कर विभाग की इन प्रवर्तन कार्रवाइयों से प्रदेश के राजस्व में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है एवं आगामी समय में प्रवर्तन गतिविधियों को और तेज करते हुए कर चोरी के विरुद्ध कठोर कदम उठाए जाएंगे।