किसानों को उर्वरकों की निर्बाध आपूर्ति हेतु राज्य सरकार के सशक्त प्रयास : कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ी लाल

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डॉ. किरोड़ी लाल ने बताया कि प्रदेश में समय पर हुई पर्याप्त वर्षा तथा अक्टूबर माह में दो बार असमायिक वर्षा से भूमि में नमी की उपलब्धता बढ़ी, जिससे कृषकों द्वारा अग्रिम बुवाई में तेजी आई। इस वर्ष 26 नवम्बर तक गत वर्ष की तुलना में 9 लाख हैक्टेयर अधिक क्षेत्र में बुवाई की जा चुकी है। वहीं तिलहनी फसलों में 34 लाख हैक्टेयर एवं खाद्यान्न फसलों में 29 लाख हैक्टेयर क्षेत्रफल में प्रथम सिंचाई के साथ यूरिया की टॉप ड्रेसिंग भी की जा रही है, जिसके परिणामस्वरूप यूरिया की मांग में उल्लेखनीय बढ़ोतरी हुई है।

उन्होंने कहा कि किसानों द्वारा आवश्यकता से अधिक उर्वरक खरीदने की प्रवृत्ति भी मांग में वृद्धि का एक प्रमुख कारण है। बावजूद इसके राज्य सरकार ने उर्वरकों की उपलब्धता सुनिश्चित करने में कोई कमी नहीं रखी। पिछले 2 वर्षों में डीएपी की औसत आपूर्ति 2.53 लाख मैट्रिक टन करायी जा चुकी है, जो पूर्व सरकार के 5 वर्षीय औसत से अधिक है।

कृषि मंत्री ने बताया कि रबी सीजन के पहले दो महीनों अक्टूबर व नवम्बर में 7.53 लाख मैट्रिक टन की मांग के विरुद्ध 9.15 लाख मैट्रिक टन यूरिया उपलब्ध करवा दिया गया है। इसके अतिरिक्त 24 हजार मैट्रिक टन की आपूर्ति जारी है तथा आगामी दो दिनों में 31 हजार मैट्रिक टन यूरिया और उपलब्ध होने से माह के अंत तक कुल उपलब्धता 9.70 लाख मैट्रिक टन से अधिक हो जाएगी, जो मांग से 29 प्रतिशत अधिक है।

प्रदेश में अब तक लगभग 95 लाख हैक्टेयर में रबी फसलों की बुवाई हो चुकी है, जिसके अनुरूप लगभग 7 लाख मैट्रिक टन यूरिया की आवश्यकता है, जबकि 9.15 लाख मैट्रिक टन पहले ही किसानों को उपलब्ध करवा दिया गया है और निरंतर आपूर्ति जारी है।