जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने कहा कि “महिला स्वयं सहायता समूह अब ग्रामीण अर्थव्यवस्था की रीढ़ बनते जा रहे हैं। दीपावली मेला जैसे आयोजनों से उन्हें अपने उत्पादों के बेचने, प्रदर्शन करने और पहचान का उत्कृष्ट अवसर मिला है। उन्होंने कहा कि जनता द्वारा भी स्थानीय उत्पादों को सराहा गया है।
जिलाधिकारी ने कहा कि भविष्य में भी समूहों को अवसर प्रदान करते हुए प्रोत्साहित किया जाएगा ताकि अधिक से अधिक महिला समूह आत्मनिर्भर बन सकें और अपने परिवार एवं समाज की आर्थिक स्थिति को सशक्त बना सकें।