गाजियाबाद। आगामी विधानसभा चुनाव से पहले सभी दलों ने गतिविधियां तेज कर दी है लेकिन ऐसे में समाजवादी पार्टी के लिए एक घातक संकेत दिखाई दे रहा है। दरअसल जहां एक ओर समाजवादी पार्टी का जिला और महानगर संगठन बेहद मेहनत से काम कर रहा है। वहीं दूसरी ओर सपा महिला सभा की स्थिति बेहद कमजोर दिखाई दे रही है। ऐसे में अब पार्टी की वरिष्ठ नेत्रियों ने ही इस मामले में पार्टी के आला अधिकारियों को सचेत करने की मुहिम चलाई है। इसी क्रम में लोनी से सपा की वरिष्ठ नेत्री दुर्गेश चौधरी ने कहा है कि महिला सभा की कमजोरी पार्टी के लिए आगामी विधानसभा चुनाव में खतरनाक साबित हो सकती है। इसके लिए पार्टी को जनपद स्तर पर बदलाव करने चाहिए ताकि बेहतर लोगों के हाथ में नेतृत्व हो और पार्टी मजबूती के साथ आगामी विधानसभा चुनाव में अपनी दमदार उपस्थिति दर्ज करा सके।
श्रीमती चौधरी ने कहा कि अगर बात लोनी क्षेत्र की की जाए तो लगभग दो लाख के आसपास महिला मतदाता मौजूद है लेकिन सपा महिला सभा ने अनुभवहीन लोगों को लोनी विधानसभा की कमान सौंप दी है। यह वह लोग हैं जो कि सामाजिक और राजनीतिक रूप से बेहद कमजोर हैं। जिनकी क्षेत्र में ना कोई पहचान है और ना ही इन्होंने पार्टी के लिए कभी कोई बड़ा काम किया है। सिर्फ फोटो खिंचवा लेने से पार्टी को मजबूती नहीं मिलेगी, निश्चित रूप से इस पद के चयन में कहीं ना कहीं मिस्टेक हो गई है। हमें अपनी गलतियों को जल्द से जल्द सुधारना है ताकि मेहनत के साथ आगे बढ़े और मजबूती के साथ पार्टी का परचम लोनी विधानसभा क्षेत्र में लहरा सकें। सपा की वरिष्ठ नेत्री दुर्गेश चौधरी ने कहा कि गत विधानसभा चुनाव में पार्टी मौजूदा जिलाध्यक्ष एवं प्रत्याशी राशिद मलिक और उनकी टीम ने क्षेत्र में बहुत मेहनत की थी। जिसके बाद क्षेत्र में समाजवादी पार्टी की स्थिति तेजी से मजबूत हो रही थी लेकिन अचानक ही महिला सभा लोनी विधानसभा अध्यक्ष के पद की जिम्मेदारी अनुभवहीन हाथों में सौंप दी गई जिसके बाद स्थिति में तेजी से बदलाव आ रहा है।
उन्होंने कहा कि जिस तरह से समय रहते उपायों के जरिए बड़ी से बड़ी समस्या का हल कर लिया जाता है, उसी तरह अगर समय रहते इस ओर पार्टी ध्यान देगी तो निश्चित रूप से आगामी विधानसभा चुनाव में लोनी की समझदार जनता एक बार फिर सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश दव के सिपाहियों को सर आंखों पर बिठा आएगी। इसमें कोई दो राय नहीं कि हम गत विधानसभा चुनाव में की गई मेहनत का फल थोड़ी सी समझदारी के जरिए उठा सकते हैं लेकिन अगर हमने नादानी की तो इसका खामियाजा भी हमें भुगतना पड़ सकता है। ऐसे में क्षेत्र में किसी मजबूत अनुभवी और राजनीति में कुशल महिला को विधानसभा की जिम्मेदारी सौंपने चाहिए जो कि अपनी टीम बनाकर महिलाओं के बीच समाजवादी पार्टी को मजबूती प्रदान करने का काम करें।
गौरतलब है कि गत दिनों समाजवादी पार्टी की महिला सभा अध्यक्ष कमलेश चौधरी ने लोनी विधानसभा अध्यक्ष के पद पर मेनका त्यागी का मनोनयन किया था। जिसके बाद से क्षेत्र में विवाद उत्पन्न हो गए हैं। ऐसे में पार्टी की मजबूती के लिए सपा के आला पदाधिकारी जल्दी कोई महत्वपूर्ण कदम उठा सकते हैं।