ग्रेटर नोएडा: कार से गांव जा रहे एक परिवार ने 5 साल पहले हुए सड़क हादसे में अपनी मां को खो दिया था। इस हादसे में मृतका के बेटे का एक पैर कट गया था। वहीं, 6 साल की पोती के दोनों पैर फ्रैक्चर हो गए थे। अब इस परिवार को मुआवजे के तौर पर 15 लाख रुपये मिलेंगे। यह रकम उस वाहन की बीमा कंपनी देगी, जिसकी टक्कर से इस परिवार पर दुखों का पहाड़ टूटा था। अडिशनल डिस्ट्रिक्ट जज/मोटर एक्सीडेंट क्लेम कोर्ट-3 वेद प्रकाश वर्मा की अदालत ने यह फैसला सुनाया है।
मूलरूप से लखीमपुर खीरी जिले का रहने वाला यह परिवार वर्तमान में नोएडा सेक्टर-20 में रह रहा है। 6 जुलाई 2015 को परिवार के लोग मारुति वैन कार से नोएडा से अपने गांव जा रहे थे। शाहजहांपुर के पास जाइलो कार ने उनकी वैन में टक्कर मार दी थी। इस हादसे में विटोली देवी (55) की मौत हो गई थी। उनके पति की पहले ही मौत हो चुकी है। विटोली नोएडा में घरों में जाकर काम करती थीं और 10 हजार रुपये महीने कमाती थीं। हादसे में उनका बेटा विमलेश कुमार (28) भी घायल हुआ था। इलाज के दौरान उनका बाया पैर घुटनों तक काटना पड़ा था। विमलेश नोएडा में बॉडी मसाज का काम कर 40 हजार रुपये प्रति माह कमाते थे। उस हादसे में विमलेश की 6 साल की बेटी गीतांक्षी के दोनों पैरों में फ्रैक्चर हो गया था।
मजदूरी के हिसाब से मानी आय
कोर्ट में सुनवाई के दौरान नोएडा अथॉरिटी के रिटायर्ड विधि अधिकारी अनिल कुमार सक्सेना ने अपनी गवाही में कहा कि विमलेश उनके घर भी मसाज करने आता था। वह उसे मेहनताने के रूप में 10 हजार रुपये प्रति माह देते थे। इसके अलावा वह अथॉरिटी के अन्य अधिकारियों के पास भी मसाज करने जाता था। हालांकि पेमेंट के लिखित साक्ष्य न होने के कारण कोर्ट ने विमलेश की मासिक आय 40 हजार रुपये के बजाय मजदूरी के हिसाब से 6 हजार रुपये मानी है।
7 प्रतिशत ब्याज भी दिया जाएगा
बिलों के आधार पर इलाज में खर्च रकम को 28 हजार 500 रुपये माना गया। आय, खर्च और अनुमानित कमाई आदि के लिहाज से कोर्ट ने बिमलेश को 9 लाख 10 हजार 360 रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया। केस दाखिल करने से लेकर मुआवजा दिए जाने तक इस रकम पर 7 प्रतिशत वार्षिक ब्याज भी दिया जाएगा। उनकी बेटी के घायल होने के मामले में 33 हजार 400 रुपये 7 प्रतिशत वार्षिक ब्याज के साथ दिए जाएंगे। यह रकम भी विमलेश को मिलेगी।
मौत के मुआवजे की रकम बंटेगी
विमलेश की मां की मौत के मामले में 5 लाख 60 हजार 116 रुपये 7 प्रतिशत वार्षिक ब्याज के साथ देने का आदेश दिया गया है। यह रकम विमलेश व उनके चार अन्य भाइयों के बीच बांटी जाएगी। हादसे के लिए जिम्मेदार कार का नैशनल इंश्योरेंस कंपनी से बीमा था। लिहाजा मुआवजे की सारी रकम यह बीमा कंपनी ही देगी।