भावुक हुए राकेश टिकैत- कहा, कानून वापस नहीं हुए तो आत्महत्या कर लूंगा

Share

26 जनवरी के दिन ट्रैक्टर रैली के दौरान दिल्ली में हुई हिंसा के बाद से पुलिस-प्रशासन किसान आंदोलनकारियों पर काफी सख्ती कर रही है। एक ओर जहां मेरठ के बड़ौत में 40 दिन से चल रहे प्रदर्शन को पुलिस ने बीती रात खत्म कराया, वहीं यूपी गेट पर आंदोलन स्थल की बिजली काट दी गई। बिजली कटने के बाद अंधेरा होने के चलते गिरफ्तारी के डर से किसानों ने खुद रात में जागकर पहरा दिया। राकेश टिकैत ने मीडिया से बात करते हुए भावुक हो गए और कहा कि यदि कृषि कानून वापस नहीं हुए तो मैं आत्महत्या कर लूंगा। उन्होंने कहा कि देश के किसानों पर अत्याचार हो रहा है। उन्होंने कहा कि किसानों को बर्बाद करने की साजिश रची जा रही है। गाजीपुर बॉर्डर पर किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि मैं सरेंडर नहीं करूंगा। लाल किले पर जिसने भी झंडा फहराया है, उसकी जांच होनी चाहिए।

यूपी गेट पर गाजियाबाद जिले के सभी थानों से बुलाई गई फोर्स

यूपी गेट पर गाजियाबाद जिले के सभी थानों से फोर्स बुला ली गई है। जिला प्रशासन ने किसानों को यूपी गेट खाली करने का अल्टीमेटम दिया है। पुलिस यूपी गेट पर ड्रोन कैमरे से निगरानी कर रही है। साथ ही यूपी गेट पर कुछ लोग पहुंचे हैं, जो हमारी बॉर्डर खाली करो के नारे लगा रहे हैं।

30 जनवरी से अन्ना हजारे किसानों की मांगों को लेकर करें विरोध प्रदर्शन

सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे का कहना है कि वह 30 जनवरी से महाराष्ट्र के अहमदनगर में रालेगण सिद्धि में किसानों से संबंधित विभिन्न मांगों को लेकर विरोध प्रदर्शन शुरू करेंगे। समर्थकों से अपने-अपने स्थानों पर विरोध करने का आग्रह किया गया है।

किसान महापंचायत ने शाहजहांपुर पर विरोध स्थल खाली करने का निर्णय लिया

किसान महापंचायत रामपाल जाट ने कहा कि हमने 21 जनवरी को संयुक्त किसान मोर्चा से खुद को अलग कर लिया था लेकिन विरोध का समर्थन कर रहे थे। अब, हम हर चरण का विश्लेषण करने के बाद आंदोलन का समर्थन करेंगे। हमने शाहजहांपुर (राजस्थान-हरियाणा सीमा) पर विरोध स्थल खाली करने का निर्णय लिया है। उन्होंने यह भी कहा कि 26 जनवरी को लाल किले की घटना की जिम्मेदारी लेने वाले को गिरफ्तार नहीं किया गया है। यह दर्शाता है कि यह सरकार की साजिश है। मामले की जांच होनी चाहिए।

किसानों के आंदोलन में बैठा है लक्खा सिधाना

लाल किले पर तिरंगे के अपमान को लेकर जिस लक्खा सिधाना को दिल्ली पुलिस ढूंढ रही है, वह किसानों के आंदोलन में बैठा है। गुरुवार को दोपहर बाद लक्खा सिधाना ने किसान आंदोलन से लाइव होकर पंजाबियों से इस आंदोलन को बचाने की अपील की। उसका कहना है कि जो भी घटना हुई है, उसके लिए केंद्र सरकार जिम्मेदार है।

बिजली के बाद यूपी गेट पर गाजियाबाद प्रशासन से पानी सप्लाई किया बंद, शौचालय भी हटाया

किसान आंदोलन में शामिल किसानों का अब बिजली कटने के बाद खाने-पीने और अन्य कामों के लिए जरूरी पानी भी न मिलने का आरोप है। उत्तराखंड के एक किसान ने बताया कि वह कौशांबी में टैंकर लेकर पानी लेने गए थे मगर वहां मौजूद कर्मचारियों ने पानी देने से मना कर दिया।

इसके साथ ही गाजियाबाद नगर निगम यहां से अपने शौचालय भी वापस ले गई है। इस पर भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहा कि प्रशासन ने आंदोलन स्थल पर पानी बंद कर दिया है जिससे किसान परेशान होकर यहां से चले जाएं, इसके बाद उन्होंने कहा कि यह आंदोलन लंबा चलेगा, दिल्ली पुलिस द्वारा नोटिस मिलने को लेकर कहा कि वकील जवाब देंगे।